गुरुवार, 26 जून 2025

मजबूत विवेचना में समय जरूर लग रहा किन्तु वह पीड़ित को न्याय दिलाने में हो रहा कारगर-डीआईजी/एसएसपी सूरजपुर। सूरजपुर पुलिस द्वारा आयोजित नवीन कानूनों के प्रशिक्षण सत्र में जिला प्रशासन के अधिकारी-कर्मचारियों को किया गया प्रशिक्षित।

 


सूरजपुर। नए कानूनों के क्रियान्वयन में पुलिस तत्परता से कार्य कर रही है, कई कार्यवाहियों में डिजिटल एविडेंस, विडियोग्राफी, फोटोग्राफी सहित अन्य कार्यो में मजबूत विवेचना के लिए समय जरूर लग रहा है किन्तु वह पीड़ित को न्याय दिलाने में सार्थक साबित हो रहा है। अपराध की विवेचना में पुलिस के साथ ही प्रशासन के विभागों की भी महत्वपूर्ण भूमिका होती है, सभी के समन्वय से साक्ष्य संकलन कर अभियोग पत्र माननीय न्यायालय में पेश करने से दोषसिद्धि शत्-प्रतिशत होगी है, उक्त बाते डीआईजी व एसएसपी सूरजपुर श्री प्रशांत कुमार ठाकुर ने शुक्रवार, 13 जून 2025 को स्थानीय ऑडिटोरियम हॉल में आयोजित नवीन कानूनों के प्रशिक्षण सत्र के दौरान कही।
            उन्होंने कहा कि नए कानून की जानकारी हर किसी को होनी चाहिए, व्यक्ति को अपने अधिकार और सुरक्षा के लिए बनाए गए नए कानूनों की जानकारी होगा तो कहीं भी पीछे नहीं रहेगा। इन प्रशिक्षणों का उ्द्धेश्य सभी को नवीन आपराधिक कानूनों का प्रशिक्षण देकर सशक्त बनाना है।
कलेक्टर सूरजपुर श्री एस. जयवर्धन के द्वारा पुलिस विभाग द्वारा आयोजित नवीन आपराधिक कानूनों के प्रशिक्षण में जिले के सभी विभाग प्रमुखों, अधिनस्थ सभी कर्मचारियों को सम्मिलित होकर प्रशिक्षण लेने के निर्देश भी जारी किए है। प्रशिक्षण में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक संतोष महतो, मास्टर्स ट्रेनर एसडीओपी ओड़गी राजेश जोशी, डीएसपी रितेश चौधरी, एसआई विराट विशि ने नवीन कानूनों, अपराध विवेचना एवं नए बदलाव के बारे में विस्तार से बताया। शुक्रवार को प्रशिक्षण में शिक्षा विभाग, समाज कल्याण विभाग, परियोजना, उप पंजीयक, श्रम, रेशम सहित अन्य विभाग के अधिकारी-कर्मचारी, पुलिस विभाग के अधिकारी व जवान मौजूद रहे।
           प्रशिक्षण सत्र के दौरान जिला पुलिस की नशे के विरूद्ध जन जागरूकता अभियान ‘‘नवजीवन’’ के तहत प्रशासन-पुलिस अधिकारी व कर्मचारियों को डीआईजी व एसएसपी श्री प्रशांत कुमार ठाकुर ने संकल्प दिलाया कि छत्तीसगढ़ को विकसित राज्य बनाने, अपने परिवार में हर्षोल्लास रखने, मन, मन, धन को सुदृढ़ बनाने, पर्यावरण को स्वच्छ रखने के लिए सभी वर्ग के व्यक्तियों में नशापान के दुष्परिणामों को प्रचारित कर यथा संभव नशा पीड़ितों से व्यक्तिगत् सम्पर्क कर उन्हें नशामुक्ति के लिए प्रेरित करूंगा।

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3
सायबर की पाठशाला में आज तीसरे पाठ में हम समझने की कोशिश कर रहे हैं कि एक सुरक्षित लिंक कैसा दिखता या होता है। धोखेबाज/अपराधी आम लोगों को ठगने के लिए बैंको के नाम से मिलते जुलते नाम या अक्षरों का प्रयोग करके एक यूआरएल/URL बनाता है और उसे मोबाइल पर सीधे मैसेज के रूप में भेजता है इन लिंकनुमा URL पर क्लिक करते ही आप ठगी के शिकार हो जाते हैं। यदि लिंक में anydesk, mingle, teamviewer जैसे शब्द हैं तो आपके फोन को हैक करने का प्रयास हो रहा है, तुरंत मैसेज डिलिट करें। लिंक पर क्लिक बिलकुल न करें। अनजान व्यक्तियों से फोन पर ज्यादा बात न करें और न ही उन्हें किसी भी तरह की जानकारी दें चाहे कुछ भी हो जाए। तभी आप ठगी से बच पाएंगे। इस तरह के फर्जीवाड़ों पर और विस्तार से जानकारी के लिए इस श्रृंखला पर नजर बनाए रखें। पिछले पाठों को फिर से जानने के लिए/ पुनरावलोकन के लिए तस्वीर पर क्लिक करें या ऊपर के संबंधित टैब (सायबर की पाठशाला) पर क्लिक करें।