रविवार, 6 मार्च 2022

5 लाख 50 हजार रूपये कीमत के 35 मोबाईल व स्मार्ट वॉच जप्त, 5 आरोपी गिरफ्तार; आरोपियों ने चोरी की मोबाईल को ईंट भट्ठा के पास रखा था छुपाकर


थाना झिलमिली पुलिस की कार्यवाही

सूरजपुर। बीते 03 मार्च को ओड़गी निवासी हिमांशु गुप्ता ने थाना झिलमिली में रिपोर्ट दर्ज कराया कि भैयाथान-ओड़गी रोड में उसका आशु इलेक्ट्रानिक्स का दुकान है, जहां 3 मार्च की दरमियानी रात में उसके दुकान से 44 नग मोबाईल, 5 नग स्मार्ट वॉच और 1 इयर बड्स कीमत 6 लाख 50 हजार रूपये का अज्ञात चोर ने चोरी कर लिया है रिपोर्ट पर अपराध क्रमांक 34/22 धारा 457, 380 भादवि के तहत मामला पंजीबद्ध किया गया। मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस अधीक्षक सूरजपुर श्री राजेश अग्रवाल ने थाना प्रभारी को चोरी के मामले का जल्द खुलासा करते हुए चोर को गिरफ्तार करने के निर्देश दिए। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक हरीश राठौर व एसडीओपी ओड़गी राजेश जोशी के मार्गदर्शन में थाना झिलमिली की पुलिस नई तकनीक की मदद से अज्ञात चोर की पतासाजी में लगी थी इसी दौरान मुखबीर ने सूचना दिया कि ग्राम करकोटी में एक व्यक्ति चोरी का मोबाईल बेचने की फिराक में है जिसके बाद पुलिस ने उसे पकड़ा। पूछताछ पर कमल उर्फ राहुल ने बताया कि दिनांक 03.03.2022 को अपने साथी मुकेश बंजारे, ओमप्रकाश व 2 अन्य के साथ आशु इलेक्ट्रानिक्स की दुकान का ताला तोड़कर उसके अंदर रखे मोबाईल, स्मार्ट वॉच, इयर बड्स को चोरी करके करकोटी स्थित अपने ईंट भट्ठा के पास छुपाकर रखे थे। आरोपी के निशानदेही पर 34 नग मोबाईल, 03 नग स्मार्ट वॉच कुल कीमत 5 लाख 50 हजार रूपये एवं घटना में प्रयुक्त ताला तोड़ने का सब्बल जप्त कर आरोपी कमल उर्फ राहुल पिता अर्जुन राम उम्र 19 वर्ष निवासी ग्राम करकोटी, मुकेश बंजारे पिता गनी राम उम्र 21 वर्ष सा. लखनपुर, थाना झिलमिली एवं ओमप्रकाश पिता लालसाय उम्र 19 वर्ष सा. केवरा, थाना झिलमिली को गिरफ्तार किया गया। आरोपियों ने बताया कि चोरी किए गए मोबाईल को बेचने के लिए जसपाल उर्फ बंटी पिता करमचंद उम्र 19 वर्ष सा0 केशवनगर एवं उमाशंकर पिता महेश लाल उम्र 19 वर्ष सा0 तिलसिवां को दिए थे पुलिस ने चोरी का 1 नग मोबाईल जप्त कर इन दोनों को भी गिरफ्तार किया गया है। इन दोनों आरोपियों ने चोरी के पूरे मोबाईल को बेचने का जिम्मा लिया था। मामले में 2 अन्य आरोपी फरार है जिनकी पतासाजी की जा रही है।इस कार्यवाही में थाना प्रभारी झिलमिली बसंत खलखो, एएसआई धनेश्वर कुशवाहा, प्रधान आरक्षक हेमन्त सोनवानी, हितेश्वर राजवाड़े, आरक्षक दिनेश ठाकुर, दिलपाल कसेरा, युवराज यादव, रोशन सिंह, चंद्रदेव मरावी, अचल गुप्ता, महेश सिदार, रामदयाल राठिया व सैनिक नरेन्द्र मरावी सक्रिय रहे।

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3
सायबर की पाठशाला में आज तीसरे पाठ में हम समझने की कोशिश कर रहे हैं कि एक सुरक्षित लिंक कैसा दिखता या होता है। धोखेबाज/अपराधी आम लोगों को ठगने के लिए बैंको के नाम से मिलते जुलते नाम या अक्षरों का प्रयोग करके एक यूआरएल/URL बनाता है और उसे मोबाइल पर सीधे मैसेज के रूप में भेजता है इन लिंकनुमा URL पर क्लिक करते ही आप ठगी के शिकार हो जाते हैं। यदि लिंक में anydesk, mingle, teamviewer जैसे शब्द हैं तो आपके फोन को हैक करने का प्रयास हो रहा है, तुरंत मैसेज डिलिट करें। लिंक पर क्लिक बिलकुल न करें। अनजान व्यक्तियों से फोन पर ज्यादा बात न करें और न ही उन्हें किसी भी तरह की जानकारी दें चाहे कुछ भी हो जाए। तभी आप ठगी से बच पाएंगे। इस तरह के फर्जीवाड़ों पर और विस्तार से जानकारी के लिए इस श्रृंखला पर नजर बनाए रखें। पिछले पाठों को फिर से जानने के लिए/ पुनरावलोकन के लिए तस्वीर पर क्लिक करें या ऊपर के संबंधित टैब (सायबर की पाठशाला) पर क्लिक करें।