बुधवार, 17 नवंबर 2021

बाल सुरक्षा सप्ताह में पुलिस ने स्कूलों में बच्चों को बताए उनके अधिकार और कई महत्वपूर्ण जानकारियों से कराया अवगत


सूरजपुर। पुलिस अधीक्षक श्रीमती भावना गुप्ता के निर्देश पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक हरीश राठौर के मार्गदर्शन में जिले के थाना-चौकी की पुलिस बाल सुरक्षा सप्ताह के तहत अलग-अलग स्कूलों में जाकर बच्चों को गुड टच-बैड टच, यातायात नियम, साइबर सुरक्षा, पाक्सो एक्ट, जेजे एक्ट, मानव तस्कारी, नशा के दुष्प्रभाव के बारे में जानकारी दे रहा है। स्कूली बच्चों को अपनी सुरक्षा के प्रति सजग रहकर बेहतर शिक्षा हासिल करने हेतु प्रोत्साहित किया जा रहा है। इस दौरान पुलिस अधिकारियों ने स्वयं का मोबाईल नंबर भी छात्रों को उपलब्ध कराते हुए कहा कि किसी प्रकार की समस्या, घटना-दुर्घटना की जानकारी मोबाईल पर दे ताकि आपकी सहायता की जा सके।
पुलिस के अधिकारियों के द्वारा बाल सुरक्षा को लेकर सार्वजनिक जगहों में जाकर बच्चों व युवाओं को जागरूक किया जा रहा है। इस क्रम में साप्ताहिक बाजार व विभिन्न स्कूलों में पहुंचकर स्कूली बच्चों व अन्य लोगों को जागरूक किया।

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3
सायबर की पाठशाला में आज तीसरे पाठ में हम समझने की कोशिश कर रहे हैं कि एक सुरक्षित लिंक कैसा दिखता या होता है। धोखेबाज/अपराधी आम लोगों को ठगने के लिए बैंको के नाम से मिलते जुलते नाम या अक्षरों का प्रयोग करके एक यूआरएल/URL बनाता है और उसे मोबाइल पर सीधे मैसेज के रूप में भेजता है इन लिंकनुमा URL पर क्लिक करते ही आप ठगी के शिकार हो जाते हैं। यदि लिंक में anydesk, mingle, teamviewer जैसे शब्द हैं तो आपके फोन को हैक करने का प्रयास हो रहा है, तुरंत मैसेज डिलिट करें। लिंक पर क्लिक बिलकुल न करें। अनजान व्यक्तियों से फोन पर ज्यादा बात न करें और न ही उन्हें किसी भी तरह की जानकारी दें चाहे कुछ भी हो जाए। तभी आप ठगी से बच पाएंगे। इस तरह के फर्जीवाड़ों पर और विस्तार से जानकारी के लिए इस श्रृंखला पर नजर बनाए रखें। पिछले पाठों को फिर से जानने के लिए/ पुनरावलोकन के लिए तस्वीर पर क्लिक करें या ऊपर के संबंधित टैब (सायबर की पाठशाला) पर क्लिक करें।