बुधवार, 12 फ़रवरी 2020

2 लाख 50 हजार कीमत के नशीली कफ सिरप के साथ 01 गिरफ्तार, करंजी पुलिस की कार्यवाही...

पुलिस अधीक्षक सूरजपुर को मिली थी सूचना.........

सूरजपुर। सोमवार 10 फरवरी 2020 को पुलिस अधीक्षक सूरजपुर श्री राजेश कुकरेजा को मुखबीर ने सूचना दिया कि ग्राम कड़िया, थाना चलगली निवासी सुनील प्रसाद गुप्ता भारी मात्रा में नशीली दवाई लेकर बिक्री करने हेतु काला रंग के पल्सर मोटर सायकल में काला कोट पहनकर करंजी की ओर जा रहा है। सूचना पर पुलिस अधीक्षक ने चौकी प्रभारी करंजी संजय गोस्वामी को सतर्कता बरतते हुए घेराबंदी लगाकर नशीली दवा बिक्री करने हेतु आ रहे व्यक्ति को पकड़ने के निर्देश दिए।
          चौकी प्रभारी करंजी पुलिस टीम के साथ दतिमा चौक के पास घेराबंदी लगाए जो दतिमा चौक के पास एक काला रंग के पल्सर मोटर सायकल में काला कोट पहना हुआ व्यक्ति राई की ओर से आते दिखा जिसे रोकने का इशारा करने पर वाहन को तेज गति से चलाते हुए दतिमा ओव्हर ब्रीज की ओर भागने लगा जिसे पुलिस टीम ने पीछा कर दतिमा के ओव्हर ब्रिज के पास घेराबंदी कर पकड़ा। पूछताछ पर उसने अपना नाम सुनील प्रसाद गुप्ता पिता बैजनाथ गुप्ता उम्र 45 वर्ष ग्राम कड़िया, थाना चलगली जिला बलरामपुर का होना बताया जिसके कब्जे से एक झोला व एक नीले रंग के बैग में 432 नग अवैध आरएक्स कफ सिरप बरामद हुआ, जप्त नशीली कफ सिरप की बाजारू कीमत 2 लाख 50 हजार रूपये एवं परिवहन में प्रयुक्त सोल्ड बजाज पल्सर मोटर सायकल को जप्त कर आरोपी सुनील प्रसाद गुप्ता को विधिवत् गिरफ्तार किया है।
         पूछताछ पर आरोपी ने बताया कि झारखण्ड के कई स्थानों से नशीली कफ सिरप को कम कीमत में लाकर विश्रामपुर, सूरजपुर, करंजी, रामानुजनगर, नारायणपुर क्षेत्र के नशेड़ियों को वास्तविक कीमत से 8-10 गुना अधिक दर पर बिक्री कर लाभ अर्जित करता था। आरोपी को पूर्व चंदौरा पुलिस ने अवैध नशीली दवा के मामले में गिरफ्तार करके जेल भेजा था।
इस कार्यवाही में चौकी प्रभारी करंजी संजय गोस्वामी, प्रधान आरक्षक रघुवंश सिंह, विकास सिंह, आरक्षक सतीश उपाध्याय, भोला राजवाड़े, ताराचंद यादव व धनेश्वर सिंह सक्रिय रहे।

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3
सायबर की पाठशाला में आज तीसरे पाठ में हम समझने की कोशिश कर रहे हैं कि एक सुरक्षित लिंक कैसा दिखता या होता है। धोखेबाज/अपराधी आम लोगों को ठगने के लिए बैंको के नाम से मिलते जुलते नाम या अक्षरों का प्रयोग करके एक यूआरएल/URL बनाता है और उसे मोबाइल पर सीधे मैसेज के रूप में भेजता है इन लिंकनुमा URL पर क्लिक करते ही आप ठगी के शिकार हो जाते हैं। यदि लिंक में anydesk, mingle, teamviewer जैसे शब्द हैं तो आपके फोन को हैक करने का प्रयास हो रहा है, तुरंत मैसेज डिलिट करें। लिंक पर क्लिक बिलकुल न करें। अनजान व्यक्तियों से फोन पर ज्यादा बात न करें और न ही उन्हें किसी भी तरह की जानकारी दें चाहे कुछ भी हो जाए। तभी आप ठगी से बच पाएंगे। इस तरह के फर्जीवाड़ों पर और विस्तार से जानकारी के लिए इस श्रृंखला पर नजर बनाए रखें। पिछले पाठों को फिर से जानने के लिए/ पुनरावलोकन के लिए तस्वीर पर क्लिक करें या ऊपर के संबंधित टैब (सायबर की पाठशाला) पर क्लिक करें।