गुरुवार, 2 जुलाई 2020

सूरजपुर पुलिस ने किया अंधे कत्ल का खुलासा, 2 आरोपी गिरफ्तार.........

सूरजपुर: दिनांक 25/06/2019 को ग्राम कोटेया निवासी बीरसाय कुशवाहा ने थाना झिलमिली में उपस्थित होकर सूचना दिया कि मृतक प्रदीप कुशवाहा जब 2 वर्ष का था उसी समय उसके पिता की मृत्यु हो गई थी तब से उसे चाचा बीरसाय कुशवाहा के द्वारा पालन-पोषण करने के लिए ग्राम खोड़ थाना पटना कोरिया ले गया था। दिनांक 22 जून 2019 के शाम को खोड़ से अपने घर कोटेया आया था जो 24 जून 2019 के 9 बजे घर से निकला था जो रात में घर वापस नहीं आया। दिनांक 25.06.19 के 5.00 बजे सुबह घर के बाड़ी में प्रदीप कुशवाहा का शव पड़ा हुआ है। सूचना पर मर्ग क्रमांक 31/19 कायम कर मौके पर जाकर शव पंचनामा की कार्यवाही की गई जो मृतक के गले में चोट के निशान थे, शव को पीएम के लिए भेजा गया। पीएम रिपोर्ट में डाक्टर के द्वारा मृतक की मृत्यु गला घोटने से दम घुटने से होना लेख किए जाने पर थाना झिलमिली पुलिस के द्वारा अज्ञात व्यक्ति के विरूद्व अपराध क्रमांक 94/19 धारा 302 भादवि का मामला पंजीबद्व कर विवेचना में लिया गया।

          पुलिस अधीक्षक श्री राजेश कुकरेजा ने जिले की कमान संभालने के बाद से ही पुराने गंभीर अपराधों के निकाल एवं आरोपियों की पतासाजी कर गिरफ्तार करने हेतु पुलिस टीम गठित कर लगातार मामलों की मानिटरिंग करते हुए टीम को दिशा-निर्देश देते रहे। पुलिस अधीक्षक ने एसडीओपी ओड़गी मंजूलता बाज के नेतृत्व में पुलिस टीम गठित करते हुए मामले की जांच की जिम्मेदारी सौंपा था।

          मामले की जांच विवेचना के दौरान गवाहों से पूछताछ पर यह तथ्य सामने आया की गांव का पंच विजय नारायण कुशवाहा का मृतक की माॅं रामबाई कुशवाहा के साथ अवैध संबंध था और उसके घर आना जाना होते रहता था जो घटना दिनांक के बाद से आना जाना कम कर दिया है। पूछताछ में विजय नारायण इस बात से इंकार करता रहा जिसकी तस्दीक लगातार पुलिस टीम के द्वारा की गई। पुलिस टीम ने विजय नारायण कुशवाहा और रामबाई कुशवाहा को तलब कर बारीकी से पूछताछ करने पर दोनों के द्वारा मिलकर मृतक प्रदीप कुशवाहा की हत्या करना स्वीकार किया।

          पुलिस अधीक्षक ने बताया कि आरोपी विजय नारायण और रामबाई दोनों के मध्य करीब 2 वर्ष से अवैध संबंध था जिसकी वजह से विजय नारायण अक्सर रामबाई के घर जाता था। घटना दिनांक 24/06/2019 से एक दिन पूर्व मृतक प्रदीप कुशवाहा अपने चाचा के घर खोड़ से अपनी माॅ के घर ग्राम कोटेया आया था। घटना दिनांक को दोनों आरोपी सलका बाजार सब्जी बेचने गये हुये थे, वहां से वापस आते समय दोनों ने रात्रि में मिलने की योजना बनाई। विजय नारायण रात्रि करीब 11 बजे रामबाई के घर गया तब रामबाई ने विजय नारायण को कहा कि बेटा घर में आया है बाहर चलते है तब दोनों घर के पीछे सब्जी बाड़ी में गये इसके कुछ देर बाद मृतक प्रदीप कुशवाहा वहां पर पहुंच गया और अपनी माॅं को विजय नारायण के साथ आपत्तिजनक स्थिति में देखा और गुस्से में आ गया जिसके बाद उसने आरोपी विजय नारायण से झूमा झटकी व हाथापाई करने लगा उसी बीच आरोपी विजय नारायण ने प्रदीप का गला दबाने का प्रयास करने लगा और पास में रखे नारियल की रस्सी को रामबाई लेकर आ गई जिसे मृतक के गले में डाल दी फिर दोनों आरोपीगण मिलकर रस्सी से खींचकर मृतक का गला दबा दिये जिससे प्रदीप कुशवाहा की मृत्यु हो गई। मृत्यु के बाद घटना को आत्महत्या का स्वरूप देने के लिए पड़ोसी राजेश कुशवाहा के निर्माणाधीन कमरे के छत पर लोहे की राड़ में उसी रस्सी का फंदा बना कर फंदे को लटका दिये थे जिसमें मृतक को लटकाने वाले थे परन्तु मृतक का शरीर भारी होने से दोनों मिलकर मृतक के शव को फंदे में नहीं लटका पाये जिसके कारण मृतक के शव को वहीं जमीन पर छोड़ दिये। जिसके बाद रामबाई अपने घर से एक साल निकाल कर लाई जिसे विजय नारायण ने पड़ोसी राजेश के छत के उपर जहां पर फंदे को लटकाया गया था वहां बिछा दिया। इसके उपरान्त रामबाई ने मृतक के जूते एवं मोबाईल को लेकर अपने घर में धान रखने के लिये बने खाली कोठी में छुपा दिया। मामले में धारा 201, 34 भादवि जोड़ी जाकर आरोपी विजय नारायण कुशवाहा पिता रामेश्वर कुशवाहा उम्र 50 वर्ष निवासी कोटेया, थाना झिलमिली एवं रामबाई कुशवाहा पति स्व. बबन राम कुशवाहा उम्र 55 वर्ष निवासी कोटेया झिलमिली के विरूद्व अपराध सबूत पाए जाने पर विधिवत् गिरफ्तार किया गया है।
          एसडीओपी ओड़गी मंजूलता बाज के नेतृत्व में थाना प्रभारी झिलमिली नरेन्द्र सिंह, थाना प्रभारी भटगांव किशोर केंवट, चैकी प्रभारी चेन्द्रा आराधना बनोदे, चैकी प्रभारी करंजी चित्रलेखा साहू, एएसआई लवकुश राजवाड़े, गुरू प्रसाद यादव, लक्ष्मी प्रसाद गुप्ता, प्रधान आरक्षक अभिषेक पाण्डेय, संजय चैहान, आरक्षक हितेश्वर राजवाड़े, अमित कुमार सिंह, हेमंत कुमार सिंह, निलेश जायसवाल, कमलेश मानिकपुरी, रामा कुमार, राकेश सिंह, नोविन लकड़ा, भुनेश्वर पाटले, ओम प्रकाश सिंह, राजू कुमार, रजनीश पटेल, सुशील मिश्रा, संतोष जायसवाल, महिला आरक्षक प्रफुल्ला मिंज, अंजिता तिर्की सक्रिय रहे।

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3
सायबर की पाठशाला में आज तीसरे पाठ में हम समझने की कोशिश कर रहे हैं कि एक सुरक्षित लिंक कैसा दिखता या होता है। धोखेबाज/अपराधी आम लोगों को ठगने के लिए बैंको के नाम से मिलते जुलते नाम या अक्षरों का प्रयोग करके एक यूआरएल/URL बनाता है और उसे मोबाइल पर सीधे मैसेज के रूप में भेजता है इन लिंकनुमा URL पर क्लिक करते ही आप ठगी के शिकार हो जाते हैं। यदि लिंक में anydesk, mingle, teamviewer जैसे शब्द हैं तो आपके फोन को हैक करने का प्रयास हो रहा है, तुरंत मैसेज डिलिट करें। लिंक पर क्लिक बिलकुल न करें। अनजान व्यक्तियों से फोन पर ज्यादा बात न करें और न ही उन्हें किसी भी तरह की जानकारी दें चाहे कुछ भी हो जाए। तभी आप ठगी से बच पाएंगे। इस तरह के फर्जीवाड़ों पर और विस्तार से जानकारी के लिए इस श्रृंखला पर नजर बनाए रखें। पिछले पाठों को फिर से जानने के लिए/ पुनरावलोकन के लिए तस्वीर पर क्लिक करें या ऊपर के संबंधित टैब (सायबर की पाठशाला) पर क्लिक करें।