शुक्रवार, 21 जून 2019

सीएसपी की टीम ने मानी जंगल में जुआ खेलते पकड़ा 13 जुआड़ी को


जुआ फड़ से 1 लाख 3 हजार 40 रूपये किया गया जप्त

सूरजपुर। 20-21 जून की दरम्यिानी रात्रि में पुलिस अधीक्षक सूरजपुर श्री जी.एस.जायसवाल को मुखबीर से सूचना प्राप्त हुई कि मानी जंगल में काफी संख्या में लोग जुआ खेल रहे है जिस पर एसपी श्री जायसवाल ने तत्काल सीएसपी डी.के.सिंह को पुलिस टीम बनाकर कार्यवाही करने के निर्देश दिए।
सीएसपी डी.के.सिंह ने तत्काल पुलिस टीम गठित कर छापामार कार्यवाही की योजना बनाते हुए अपने साथ-साथ अपनी टीम के सभी सदस्यों को स्थानीय वेश-भूषा धारण करवाई तथा स्थानीय वाहनों की मदद से मौके पर पहुंचे क्योंकि जुआड़ी पुलिस के आने की सूचना देने हेतु 2-3 लोगों को लगाकर रखते थे जिन्हें भ्रमित करने के लिए पुलिस ने स्थानीय वेशभूषा धारण किया एवं वाहन को ऐसा रूप दिया कि मानो कोई बाराती वाहन हो ऐसे वाहनों की मदद् से पुलिस टीम मानी जंगल पहुंची जहां क्रेशर के बगल में कई लोगों को मोमबत्ती की रौशनी में बैठे देखा जिस पर पुलिस टीम ने चारों ओर से घेराबंदी कर 13 व्यक्ति जो मोमबत्ती की रौशनी में जुआ खेल रहे थे जो क्रमशः ग्राम सिलौटा, थाना प्रतापपुर निवासी 36 वर्षीय विपलोप विश्वास, 32 वर्षीय रामप्रकाश चेरवा, ग्राम तेलईकछार थाना जयनगर निवासी 32 वर्षीय भैयालाल राजवाड़े, ग्राम कैलाशपुर निवासी 35 वर्षीय दीना राजवाड़े, ग्राम डेडरी थाना सूरजपुर निवासी 35 वर्षीय पुनीत राम देवांगन, 32 वर्षीय धरमजीत देवांगन, ग्राम मानी चैक निवासी 20 वर्षीय ललित राजवाड़े, ग्राम सपकरा निवासी 32 वर्षीय गणेश यादव, बौरीपारा अम्बिकापुर निवासी 35 वर्षीय नीरज कुमार रजक, शिकारी रोड़ अम्बिकापुर निवासी 32 वर्षीय अनूक कुमार, माईनस कालोनी विश्रामपुर निवासी 42 वर्षीय मोहम्मद हसन, ग्राम सतपता विश्रामपुर निवासी 35 वर्षीय राजेश रजक एवं मेन रोड़ विश्रामपुर निवासी 40 वर्षीय राजेश मालवीय हारजीत का दाव लगाकर जुआ खेलते पकड़ा। पुलिस टीम ने जुआ फड़ से 1 लाख 3 हजार 40 रूपये जप्त किया साथ ही 7 मोटर सायकल एवं 2 चार पहिया वाहनोें को भी जप्त किया है। पकड़े गए 13 लोगों के विरूद्व कोतवाली पुलिस के द्वारा धारा 13 जुआ एक्ट के तहत् कार्यवाही की गई है।
कार्यवाही सीएसपी डी.के.सिंह के नेतृत्व में हुई जिसमें थाना प्रभारी सूरजपुर उमाशंकर सिंह, थाना प्रभारी विश्रामपुर कपिलदेव पाण्डेय, चौकी प्रभारी लटोरी अजहरूद्दीन, प्रधान आरक्षक रामनिवास तिवारी, आनंद सिंह, आरक्षक जयप्रकाश तिवारी एवं अखिलेश पाण्डेय सम्मिलित रहे।

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3

'सायबर की पाठशाला' : सायबर जागरूकता अभियान कड़ी-3
सायबर की पाठशाला में आज तीसरे पाठ में हम समझने की कोशिश कर रहे हैं कि एक सुरक्षित लिंक कैसा दिखता या होता है। धोखेबाज/अपराधी आम लोगों को ठगने के लिए बैंको के नाम से मिलते जुलते नाम या अक्षरों का प्रयोग करके एक यूआरएल/URL बनाता है और उसे मोबाइल पर सीधे मैसेज के रूप में भेजता है इन लिंकनुमा URL पर क्लिक करते ही आप ठगी के शिकार हो जाते हैं। यदि लिंक में anydesk, mingle, teamviewer जैसे शब्द हैं तो आपके फोन को हैक करने का प्रयास हो रहा है, तुरंत मैसेज डिलिट करें। लिंक पर क्लिक बिलकुल न करें। अनजान व्यक्तियों से फोन पर ज्यादा बात न करें और न ही उन्हें किसी भी तरह की जानकारी दें चाहे कुछ भी हो जाए। तभी आप ठगी से बच पाएंगे। इस तरह के फर्जीवाड़ों पर और विस्तार से जानकारी के लिए इस श्रृंखला पर नजर बनाए रखें। पिछले पाठों को फिर से जानने के लिए/ पुनरावलोकन के लिए तस्वीर पर क्लिक करें या ऊपर के संबंधित टैब (सायबर की पाठशाला) पर क्लिक करें।